उत्तर प्रदेश सरकार अपने बुजुर्गों/वरिष्ठ नागरिकों की सुरक्षा, देखभाल और कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है। सरकार एक ऐसा पारिस्थितिकी तंत्र बनाने का प्रयास करता है जहां सभी भारतीय वरिष्ठ नागरिकों की मौजूदा और उभरती जरूरतों पर समेकित और समन्वित कार्रवाई पर ध्यान केंद्रित करते हुए गरिमामय जीवन जी सकें। राज्य की कुछ प्रमुख पहल हैं:
वृद्धावस्था/किसान पेंशन योजना
वृद्धावस्था/किसान पेंशन योजना के तहत 60 वर्ष या उससे अधिक आयु के वृद्ध और जिनकी ग्रामीण क्षेत्र में सभी स्रोतों से आय रु. 46,080/- और शहरी क्षेत्रों में रु. 56460/- है, पेंशन योजना के तहत पात्र हैं। इस योजना के तहत 60 वर्ष या उससे अधिक उम्र के लोगों को RS की दर से पेंशन राशि दी जाएगी। 500/- प्रति माह तिमाही आधार पर।’ with ‘इस योजना के तहत 60 वर्ष या उससे अधिक उम्र के लोगों को रु. 500/- प्रति माह तिमाही आधार पर की दर से पेंशन राशि दी जाएगी।
उत्तर प्रदेश माता-पिता एवं वरिष्ठ नागरिक वृद्धाश्रमों का भरण-पोषण एवं संचालन
उत्तर प्रदेश भरण-पोषण एवं माता-पिता एवं वरिष्ठ नागरिक कल्याण नियम, 2014 के प्रकाशन के उपरांत राज्य के सभी 75 जिलों में वृद्धाश्रमों का संचालन नियमावली के प्रावधानों के अनुसार किया जा रहा है। प्रत्येक जिले में प्रत्येक वृद्धाश्रम की क्षमता 150 है। गैर सरकारी संगठनों के माध्यम से पीपीपी मोड पर संचालित वृद्धाश्रम के निवासियों को मुफ्त आवास, भोजन, कपड़े, दवाएं, मनोरंजन, व्यक्तिगत देखभाल जैसी पूरी सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं। इन वृद्धाश्रमों में वरिष्ठ नागरिकों के लिए स्वच्छ पेयजल (आरओ) उपलब्ध है।
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